shahabuddin Bihar : पिता के अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हो सकें पूर्व सांसद मो. शहाबुद्दीन।

 पिता के अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हो सकेंगे पूर्व सांसद मो. शहाबुद्दीन, तिहाड़ से नहीं मिली पेरोल। 

6AM NEWS TIMES : Sun 20:09: 2020 08:25 pm 



पूर्व सांसद मोहम्मद शहाबुद्दीन के पिता का अंतिम संस्कार में शामिल नहीं हो पाएंगे। मो. शहाबुद्दीन लंबी कानूनी प्रक्रिया का हवाला देते हुए तिहाड़ ने पेरोल देने से इंकार कर दिया नहीं जा सके पूर्व सांसद पिता के अंतिम संस्कार में। आज शाम छह बजे मगरिब की नमाज के बाद उनके पैतृक गांव प्रतापपुर के कब्रिस्तान में किया गया। 

आपको बता दें कि तिहाड़ में बंद पूर्व सांसद मो.शहाबुद्दीन के पिता शेख मोहमद हसीबुल्लाह (90 वर्ष) का निधन शनिवार की रात हो गया था। बीते कई दिनों से शेख हसीबुल्लाह बीमार चल रहे थे। निधन की जानकारी मिलते ही रात में ही हजारों लोग शोक संवेदना जताने उनके गांव प्रतापपुर पहुंच गए। वहीं पिता के सुपुर्दे खाक की प्रक्रिया में शामिल होने के लिए तिहाड़ में बंद पूर्व सांसद को पैरोल पर लाने की कानूनी कयावद रात में ही उनके वकीलों ने शुरू कर दी थी। राजद के कई बड़े नेता व कार्यकर्ताओं की फ़ौज देर रात तक प्रतापपुर में डटी थी।

जानिए क्यों उम्रकैद की सजा काट रहे शहाबुद्दीन। 

गौरतलब है कि शहाबुद्दीन दिल्ली की जेल में उम्रकैद की सजा काट रहे हैं। पटना हाईकोर्ट के 30 अगस्त, 2017 को दिए फैसले पर सुप्रीम कोर्ट ने मुहर लगाई थी। शहाबुद्दीन को ये सजा 2004 में हुए दोहरे कत्ल के मामले में सुनाई गई थी। साल 2004 में शहाबुद्दीन और उसके गुर्गों ने रंगदारी नहीं देने पर सीवान के प्रतापपुर गांव में चंदा बाबू के 2 बेटों सतीश और गिरीश रौशन को तेजाब डालकर जिंदा जला दिया था। इस केस में शहाबुद्दीन सहित 4 लोगों को उम्रकैद की सजा सुनाई गई थी। 

 

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